मथुरा/दिल्ली, 1 अगस्त 2024 - मथुरा के कृष्ण जन्मभूमि मामले में हिंदू पक्षकारों की याचिका माननीय कोर्ट द्वारा स्वीकार किए जाने पर अखिल भारत हिंदू महासभा और संत महासभा ने खुशी जाहिर की है। इस निर्णय के बाद स्वामी चक्रपाणि जी महाराज, राष्ट्रीय अध्यक्ष, अखिल भारत हिंदू महासभा/संत महासभा ने माननीय कोर्ट का आभार व्यक्त किया है और इसे न्याय की जीत बताया है।
स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने कहा, माननीय कोर्ट द्वारा हिंदू पक्षकारों की याचिका स्वीकार किए जाने के लिए हम सभी हृदय से आभार प्रकट करते हैं। यह निर्णय हमारे धर्म और संस्कृति की रक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। हम उम्मीद करते हैं कि न्याय प्रक्रिया के अंतर्गत सत्य और धर्म की विजय होगी।
इस याचिका के स्वीकार किए जाने से मथुरा के कृष्ण जन्मभूमि मामले में एक नई दिशा मिलने की उम्मीद है। हिंदू महासभा और अन्य धर्मिक संगठनों का मानना है कि इस निर्णय से न्याय के लिए उनके संघर्ष को बल मिला है और यह सत्य की जीत की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने कहा, हम माननीय कोर्ट के इस फैसले का अभिनंदन करते हैं और आशा करते हैं कि आगे की न्यायिक प्रक्रिया में भी सत्य और धर्म की विजय होगी। यह हमारे सनातन धर्म की महिमा और गरिमा को बनाए रखने का प्रयास है, जिसके लिए हम सदैव प्रतिबद्ध हैं।
यह निर्णय आने वाले समय में मथुरा के कृष्ण जन्मभूमि मामले को और अधिक महत्वपूर्ण बना सकता है, जहां धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व के इस स्थल के संरक्षण और सम्मान की बात हो रही है। हिंदू पक्षकारों को उम्मीद है कि न्यायालय के आगामी निर्णय भी इसी दिशा में होंगे और धार्मिक स्थलों की गरिमा बनाए रखने में सहायक सिद्ध होंगे।
स्वामी चक्रपाणि जी महाराज ने अपने अनुयायियों और सभी हिंदू समाज से आग्रह किया है कि वे इस निर्णय का सम्मान करें और न्याय प्रक्रिया में विश्वास बनाए रखें। उन्होंने कहा, हम सभी को एकजुट होकर अपने धर्म और संस्कृति की रक्षा के लिए प्रयासरत रहना चाहिए और न्यायिक प्रक्रिया का सम्मान करना चाहिए।"श
इस महत्वपूर्ण निर्णय ने मथुरा के कृष्ण जन्मभूमि मामले में एक नई उम्मीद जगाई है और धार्मिक समुदायों के बीच एक सकारात्मक संदेश पहुंचाया है।
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