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स्वास्थ्य अनुसन्धान पर मोदी सरकार ने बजट तीन गुना तक बढ़ाया ।

मनोज तोमर दैनिक फ्यूचर लाइन टाईम्स ब्यूरो चीफ गौतमबुद्धनगर 

  समाजसेवी रंजन तोमर की आरटीआई पर पिछले दस साल का मिला ब्यौरा 

नोएडा - देश में स्वास्थ्य अनुसन्धान पर कितना बजट केंद्र सरकार जारी करती है इस बात से देश कितना स्वस्थ्य रहता है यह बात सीधे तौर पर जुडी है , बिमारियों से लड़ने हेतु नए तरीके इजात करने वाली इस सरकारी  विभाग  को मोदी सरकार में बहुत बल मिला है , नॉएडा के समाजसेवी श्री रंजन तोमर की एक आरटीआई में यह जानकारी सामने आयी है , जिसमें जहाँ 2013 - 14 में  स्वास्थ्य अनुसन्धान विभाग का  बजट मात्र 1008 करोड़ रुपए था वह बढ़कर 2023 -24 में 2980 करोड़ हो गया।  प्रत्येक वर्ष बढ़ते इस बजट का ब्यौरा रुपए में  इस प्रकार है।  

2013  - 14   में 1008  करोड़ 
2014 - 15  में 1017 .  67 करोड़ 
2015 - 16  में  1018 . 17  करोड़ 
2016 -17 में 1144 . 80 करोड़ 
2017  -18  में  1500 करोड़ 
2018 -19  में 1800 करोड़ 
2019  - 20  में 1900 करोड़ 
2020 - 2021  में 2100 करोड़ 
2021 - 2022 में  2663 करोड़ 
2022 - 23 में 3200 . 65 करोड़ 
2023 - 24 में 2980 करोड़ 

गौरतलब है की स्वास्थ्य अनुसन्धान विभाग निम्नलिखित कार्यों को करता है जो देश के लिए बेहद आवश्यक हैं 
अत्याधुनिक क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे, जनशक्ति और कौशल के विकास और उनसे संबंधित जानकारी के प्रबंधन के माध्यम से चिकित्सा, स्वास्थ्य, बायोमेडिकल और चिकित्सा पेशे और शिक्षा से संबंधित क्षेत्रों में नैदानिक ​​परीक्षणों और परिचालन अनुसंधान सहित बुनियादी, व्यावहारिक और नैदानिक ​​​​अनुसंधान को बढ़ावा देना और समन्वय करना। चिकित्सा और स्वास्थ्य अनुसंधान में नैतिक मुद्दों सहित अनुसंधान प्रशासन के मुद्दों को बढ़ावा देना और मार्गदर्शन प्रदान करना।चिकित्सा, बायोमेडिकल और स्वास्थ्य अनुसंधान से संबंधित क्षेत्रों में अंतर-क्षेत्रीय समन्वय और सार्वजनिक-निजी-साझेदारी को बढ़ावा देना।चिकित्सा और स्वास्थ्य से संबंधित अनुसंधान क्षेत्रों में उन्नत प्रशिक्षण, जिसमें भारत और विदेशों में ऐसे प्रशिक्षण के लिए फ़ेलोशिप प्रदान करना शामिल है।चिकित्सा और स्वास्थ्य अनुसंधान में अंतर्राष्ट्रीय सहयोग, जिसमें भारत और विदेशों में संबंधित क्षेत्रों में अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन से संबंधित कार्य शामिल हैं।महामारी और प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए तकनीकी सहायता नए और विदेशी एजेंटों के कारण फैलने वाले प्रकोप की जांच और रोकथाम के लिए उपकरणों का विकास।वैज्ञानिक समाजों और संघों, चिकित्सा और स्वास्थ्य अनुसंधान क्षेत्रों में धर्मार्थ और धार्मिक बंदोबस्ती से संबंधित मामले।विभाग को सौंपे गए विषयों से संबंधित क्षेत्रों में और चिकित्सा और स्वास्थ्य में विशेष अध्ययन को बढ़ावा देने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों के तहत संगठन और संस्थानों के बीच समन्वय।भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद आईसीएमआर का प्रशासन और निगरानी।

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