“संस्कार-पथ”में भारतीय संस्कृति व सनातन परम्परा के दर्शन


राशिद मलिक दैनिक फ्यूचर लाइन टाईम्स संवाददाता मुजफ्फरनगर 
 मुजफ्फरनगर  मानस नमन समिति, बुढ़ाना द्वारा  "संस्कार-पथ”के नाम से प्रारम्भ अनूठे अभियान के अंतर्गत 20 जून मंगलवार को दूसरा संस्करण आयोजित किया गया। जिसमे छोटे बच्चों के अंदर धार्मिक एवं सामाजिक समझ को विकसित करने के उद्देश्य से धार्मिक ज्ञान पर आधारित प्रश्नोत्तरी की गई, मंगलाचरण से कार्यक्रम को शुरू करते हुए पहले भगवान के अवतार लेने के प्रसंग से, राजा दशरथ के यहाँ उतपन्न चारों राजकुमारों के नामकरण तक की कथा का सरल एवं रोचक भाषा में  प्रस्तुतिकरण किया गया, उसके बाद 'महान विभूति परिचय' के अंतर्गत इस बार भगवान गणेश के जीवन काल से सम्बंधित घटनाओं पर चर्चा की गई। तत्पश्चात बच्चों को संस्कारित करने के उद्देश्य से व्यावहारिक बातें बतायी गयी जैसे कि उन्हें पोष्टिक व सात्विक आहार करना चाहिए, यथासम्भव व्यायाम और योग नियमित रूप से करना चाहिए।
कार्यशाला का समापन हनुमान चालीसा के सामुहिक पाठ व आरती के साथ हुआ।
 'मानस' के प्रमुख सदस्य नीरज लोमश ने बताया कि हर महीने के पहले और तीसरे मंगलवार को “संस्कार-पथ”का आयोजन किया जाता है। स्मरण रहे मानस नमन समिति पिछले 21 वर्षों से समाज में रामचरितमाननस के पठन-पाठन में संलग्न है।
मानस ने बताया की आज-कल बच्चे कंप्यूटर और मोबाइल के चलते अपनी सनातन और पौराणिक सभ्यता को भूलते जा रहे। मानस की इस पहल की अभिभावकों ने मुक्तकंठ से प्रशंसा की। उन्होंने 'मानस' की इस पहल का स्वागत किया। बच्चों द्वारा बताया गया कि उन्हें इस कार्यक्रम की बेसब्री से प्रतीक्षा रहती है।
बुढाना नगर के मध्य स्थित ठाकुरद्वारा मन्दिर में सम्पन्न इस कार्यक्रम में मुख्यरूप से राजेश शर्मा, अमरीश गोयल, नीरज लोमस, अवनीश संगल, अशोक मिंटू, प्रदीप शर्मा, विशाल सैनी, कुलदीप भटनागर, नवीन गोयल, अमित संगल, आकाश गर्ग, अमन संगल, सोनू सैनी, प0 शैलेंद्र शर्मा आदि उपस्थित रहे। इस आयोजन में 32 बाल-बालिकाओं ने भाग लिया।

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