गौतम बुद्ध नगर विश्व टीकाकरण सप्ताह- 25 से 30 अप्रैल 2023राजकीय आयुर्विज्ञान संस्थान, ग्रेटर नोएडा ने किया टीकाकरण को बढ़ावा देने का लगातार प्रयास और टीकाकरण की कमी ने होने वाली गंभीर बीमारियों का बच्चों के आई0सी0यू0 में उच्चस्तरीय ईलाज।समस्या कितनी कोविड- काल के दौरान बच्चों के सामान्य टीकाकरण में अभूतपूर्व कमी आयी, जिसमें देखा गया कि वैश्विक टीकाकरण 81 प्रतिशत 2021 में कम हुआ और लगभग 25 मिलियन ¼2-5 करोड½ 01 वर्ष से कम उम्र के बच्चों का सम्पूर्ण टीकाकरण सम्पन्न नहीं हुआ। जिससे लगातार बच्चों की टीकाकरण से बचने वाली बीमारियों की प्रतिरक्षा बच्चों के शरीर में कम होती जा रही है, जिससे आज की समय में बहुत ज्यादा इन बीमारियों ¼जो कि अधिकांश श्वास के द्वारा½ का संक्रमण फैल रहा है और बच्चों को ये बीमारी सामान्य से &
1. अधिक समय तक रह रही है।
2. ज्यादा इलाज की आवश्यकता पड़ रही है।
3. ज्यादा आई0सी0यू0 केयर की आवश्यकता पड़ रही है।
4. ज्यादा complication ¼जटिलतायें½ हो रहे है।
5. ज्यादा बच्चों के फेफड़ों में पस ¼मवाद½ भर रहा है।
इस प्रकार से टीकाकरण का छूट जाना बच्चों के स्वास्थ्य को बहुत बुरी तरह से प्रभावित करने के साथ-साथ परिवार के मानसिक और आर्थिक स्थिति को बुरा नकारात्मक प्रभाव कर रहा है और इसके साथ स्वास्थ्य कर्मी ¼डाक्टर्स@नर्स½ की कार्य क्षमता को सरकारी संस्थान/विशेष रूप से आई0सी0यू0 में अधिक काम की वजह से प्रभावित कर रहा है तथा सरकारी स्वास्थ्य सुविधाओं का अधिक प्रयोग बढ गया है।
टीकाकरण की हानि की भरपाई कैसे
WHO की थीम ^^द बिग कैच अप” ¼The Big Catch Up) को पूर्णातया अनुपालित करना है, जिसमें कहा गया है] कि&
1- टीकाकरण हर उम्र के लोगों के लिये जीवन रक्षक है। टीकाकरण सीधे तौर पर जिसे मिलता है उसे बचाता है और परोक्ष रूप से उसे भी बचाता है जो उसके आस&पास रहते है। (Protectus and those around us)
2- Vaccine बच्चों के स्वास्थ्य जीवन के शुरूआत के लिये बहुत जरूरी है।
3- हमें समाज में टीकाकरण के बढ़ावा देने के लिये जरूरत पढ़ने पर समाज के विश्वसनीय (Trusted) लोगों का भी सहयोग लेना चाहिए।
4- हमें अपने बच्चों का रक्षाकवच टीकाकरण (Cocooning) कराना चाहिए जोकि बच्चे को संक्रमण से बचाता है। इसमें हम अपने बच्चों के आस पास/परिवार/स्कूल के सभी लोगों का टीकाकरण कर सकते है, जिससे हमारा बच्चा एक रक्षाकवच (Cocoon) में सुरक्षित रहेगाA
5- हमें अवसरवादी टीकाकरण को बढ़ाकर Missed Opportunity of Vaccination ¼मिसड आपोर्चुनिटी ऑफ वैक्सीनेसन½ को कम करना होगा, जिससे हम अपने डॉक्टर और स्वास्थ्य कर्मियों को सचेन्त कर सकते है, कि कोई बच्चा किसी वजह से देखने को मिले या सर्म्पक में आये वार्ड या ओ0पी0डी0 में तो हम उसका सम्पूर्ण टीकाकरण सम्पन्न करा सकें और अवसर का फायदा उठायें टीकाकरण बढाने में
टीकाकरण में GIMS का समाज को योगदान
GIMS के बाल रोग विशेषज्ञ ब्रिगेडियर डा0 राकेश कुमार गुप्ता के मार्गदशन मेंः
1- यहॉ 24x7 टीकाकरण की सुविधा उपलब्ध है।
2- सभी सरकारी टीकाकरण मुफ्त में और गैर-सरकारी टीकाकरण निजी अस्पताल से 20-50 प्रतिशत सस्ते दर पर उपलब्ध है, बिना किसी चिकित्सक शुल्क के।
3- टीकाकरण को सम्पूर्ण करने के लिये डिजिटल रूप से अनुसरण (Follow Up) किया जाता है। जिसमें माता-पिता को भविषय के टीकाकरण की सूचना दी जाती है।
4- ऐसा करने वाला GIMS प्रदेश का पहला सरकारी संस्थान है।
अगर बच्चे टीकाकरण की कमी से बच्चे बीमार होकर बच्चों के आई0सी0यू0 व पी0आई0सी0यू0 में भर्ती हो रहे है। तो&
1- इनका उच्च दक्षता के साथ सम्पूर्ण इलाज किया जा रहा है।
2- कई बच्चों की सॉस/श्वास टूट जाने के पश्चात वेंटीलेटर ¼जीवन रक्षक प्रणाली½ पर रखकर उनको लगभग निशुल्क इलाज करके हँसते हुये घर के लिये भेजा गया।
3- कई बच्चों को ¼लगभग 50 बच्चे½ को पिछले एक वर्ष में छाती@फेफड़ों में मवाद&पस (Empyma) होने की वजह से] छाती का ऑपरेशन (ICTD) करके उसमें 100ml से 900ml तक मवाद निकाल कर जान बचायी गयी।
4- पिछले 4 दिनों में दो बच्चों को छाती का ऑपरेशन करके मवाद निकाला जाना और बच्चे की बहुत गंभीर फेफड़ों की बीमारी से सुधार हो रहा है।
हम टीकाकरण से जुडी भ्रान्तियॉ केसे कम कर सकते है।
1- हमें लोगों की भ्रांती को सहानुभूति के साथ पहले सुनना होगा और फिर उनको समझाना होगा।
2- हमें उनसे खुले तौर पर उनको टीकाकरण के बारे में जानकारी के स्तर को जानना होगा।
3- उसके बाद उन्हें विश्वसनीय साक्ष्यों के साथ उदाहरण के तौर पर समझाना होगा।
4- हमें टीकाकरण को उनके परिवार में बढ़ाने के लिये आवश्यक व्यक्तिगत वजहों को पता करके बताना होगा।
Key Points
1. हमें तुरन्त सम्पूर्ण टीकाकरण को पाना होगा।
2. सामान्य टीकाकरण अभियान को और मजबूत करना होगा।
3. हमें समाज में समझाना होगा कि टीकाकरण एक जीवन रक्षक प्रणाली है, निशुल्क रूप से और जिससे हम अपने बच्चे को जीवन रक्षक प्रणाली ¼वेन्टीलेटर½ की व्यवस्था से बचा सकते है।
4. हमे अपने आप मन से बार-बार पूछना होगा, कि क्या हम और हमारे बच्चे सम्पूर्ण टीकाकरण को करा चुके है या नहीं।
अगर नही तो ये आपकी अपने लिये अपने बच्चों के लिये और अपने समाज /देश के लिय मौलिक जिम्मेदारी को पूरा करना चाहिए।
5. GIMS में लगातार कोशिश की जा रही है, कि नवजात, बच्चों को इन बीमारियों से बचाया जाये, जिसके लिये अब आधुनिक काल में जच्चा माता का टीकाकरण को बढा दिया जाये जिससे बच्चे की जन्म के बाद प्रथम दिन से ही इन बीमारियों से प्रतिरक्ष मिल सकें।
6. GIMS लगातार अपने स्वास्थ्य तंत&ढॉचे@Health Stream को मजबूत करते हुए गरीब और जरूरत मन्द लोगों को उच्च स्तर का इलाज दे रहा है।
7. पिछले 1 साल में लगभग 50 बच्चों के छाती से मवाद निकाल कर आई0सी0यू0 से सफल घर के लिये डिस्चार्ज किया है।
8. अब आप सभी डिजिटल-मीडिया से अनुरोध है कि उचित सूचना को हर जरूरत मंद लोगो तक पहुचाये जिससे कि-
1- बीमारियों से बचाव हो,
2- बीमारी की गंभीरता न बड़े।
3- गरीब- बीमार बच्चे सही समय पर GIMS में इलाज करा सके।
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