हस्तशिल्प निर्यातकों के दुनिया के सबसे बड़े आयोजन के व्यस्त दिनों का हुआ शानदार समापन
ग्रेटर नोयडा / आईएचजीएफ दिल्ली मेले के 54 वें संस्करण का समापन समारोह और सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन पुरस्कार समारोह के साथ हुआ। इस आयोजन में भारत सरकार के कपड़ा मंत्रालय के हस्तशिल्प विकास आयुक्त श्री शांतमनु; हस्तशिल्प निर्यात संवर्धन परिषद (ईपीसीएच के अध्यक्ष श्री राज के मल्होत्रा ;ईपीसीएच के महानिदेशक और आईईएमएल के अध्यक्ष श्री राकेश कुमार की भी गरिमामयी उपस्थिति रही। इस अवसर पर ईपीसीएच प्रशासन समिति के सदस्य; ईपीसीएच के उपाध्यक्ष श्री दिलीप बैद और आईएचजीएफ दिल्ली मेला-शरद 2022 की स्वागत समिति के अध्यक्ष श्री अवधेश अग्रवाल और ईपीसीएच के कार्यकारी निदेशक श्री आर के वर्मा भी उपस्थित रहे। समापन समारोह के साथ ही प्रदर्शकों को सर्वश्रेष्ठ डिजाइन और प्रदर्शन के लिए अजय शंकर और पी.एन. सूरी मेमोरियल अवार्ड से सम्मानित किया गया। आईएचजीएफ दिल्ली मेले को लगातार समय-समय पर संरक्षण देने के लिए 04 खरीदारों को भी सम्मानित किया गया। मुरादाबाद के एक प्रख्यात सदस्य निर्यातक श्री नजमुल इस्लाम, मैसर्स मोरादाबाद हैंडीक्राफ्ट्स ऑफ़ इंडिया जिन्हें सामाजिक कल्याण के प्रति उनकी भूमिका के लिए भी ख्याति प्राप्त हैं, उन्हें हस्तशिल्प कारीगरों के कल्याण हेतु उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए सम्मानित किया गया। इसके अलावा, जोधपुर के प्रमुख सदस्य निर्यातक श्री राधा श्याम रंगा, मेसर्स लतियाल हैंडीक्राफ्ट्स प्राइवेट लिमिटेड,जोधपुर को लकड़ी के हस्तशिल्प के निर्यात में उनके योगदान के लिए भी सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर ईपीसीएच के अध्यक्ष श्री राज कुमार मल्होत्रा ने साझा किया कि"अंतर्राष्ट्रीय सोर्सिंग समुदाय द्वारा अपनी तरह के एक प्रमुख व्यापार मंच के रूप में लगाातार, विश्व स्तर पर प्रशंसित आईएचजीएफ दिल्ली मेला अपने 3034 प्रदर्शकों including permanent marts, क्षेत्रीय प्रदर्शनों और कई सहायक कार्यक्रमों के साथ, अपने 54 वें संस्करण संपन्न हुआ । इस आयोजन की विशेषता यह रही है कि इसमें सस्टेनेबिलिटी को सबसे बड़ी प्राथमिकता के रुप में रखा गया। कई खरीदारों की घरेलू और जीवन शैली उत्पादों में पर्यावरण के अनुकूल और अनुरूप रेंज की मांग भी रही है। यूरोपीय खरीदारों ने अन्य घरेलू उत्पादों के अलावा फर्नीचर पीसेज, होम एक्सेंट, उपहार उत्पाद, घर के बर्तन, बैग और क्रिसमस के सामान खरीदे हैं। जूट,घास, नदी किनारे पाई जानी वाली मोटी घास, बेंत और बांस आदि से बनी कई चुनिंदा टोकरी और होम यूटिलिटी भी क्रेताओं के बीच लोकप्रिय आइटम रहे। वस्त्र क्रेताओं ने विभिन्न प्रकार के घरेलू सामान के साथ-साथ रसोई के लिनन को भी काफी पसंद किया। स्कार्फ, स्टोल और शॉल जैसी एक्सेसरीज़ की सोर्सिंग करने आए क्रेताओं ने भी उनके द्वारा देखे गए विकल्पों पर संतोष व्यक्त किया है। गिफ्ट आइटम, कागज उत्पाद और हार्डवेयर के साथ-साथ घटकों ने भी खरीदारों को अच्छे विकल्प की पेशकश की है।”
आयोजन के समापन के अवसर पर ईपीसीएच के महानिदेशक and Chairman-IEML, श्री राकेश कुमार ने कहा, “हमारे प्रदर्शकों ने खरीदारों को जोड़ने और आकर्षित करने के लिए अद्वितीय और उत्कृष्ट प्रदर्शन बनाने के अतिरिक्त प्रयास का प्रदर्शन किया। नए उत्पादों और इनोवेशन्स ने अधिक व्यवसाय को आकर्षित किया है क्योंकि कई खरीदारों ने इ्न्हें अपनी खरीदार सूची में जोड़ा है। नियमित आगंतुकों की रिपोर्ट के अनुसार, प्रत्येक संस्करण में कुछ न कुछ आश्चर्यचकित करता है। प्रमुख उत्पाद खंडों को वर्गीकृत करने वाले बड़े स्थान के साथ बड़े आकार के स्पष्ट और निर्बाध लेआउट वाला यह संस्करण कई आईएचजीएफ प्रदर्शक और आगंतुकों के लिए एक ताज़ा और स्वागत योग्य बदलाव साबित हुआ, खासकर वो जो कुछ सीज़न के ब्रेक के बाद आए थे।
आईएचजीएफ दिल्ली मेले की स्वागत समिति के अध्यक्ष श्री अवधेश अग्रवाल ने देखा कि खरीदार बड़े और स्थापित निर्यातकों के साथ-साथ कारीगरों और नए उद्यमियों को शामिल करने की सराहना कर रहे हैं। अधिकांश कारीगरों और उद्यमियों के लिए, आईएचजीएफ दिल्ली मेले में आना उतना ही सुखद अनुभव है जितना कि ईपीसीएच और उनके आपूर्तिकर्ताओं की नई उत्पाद रेंज के साथ उनका लंबा और निरंतर जुड़ाव। कारीगर, निर्यात और उद्यमी साझा करते हैं, कि इनमें से कई क्रेताओं से आर्डर लेकर जा रहे हैं और कुछ के आर्डर तो बस अंतिम रूप के कगार पर पहुंच चुके हैं।
इस अवसर पर ईपीसीएच के कार्यकारी निदेशक श्री आर.के वर्मा ने सूचित किया , "98 देशों के 7690 विदेशी खरीदारों और खरीद प्रतिनिधियों के साथ-साथ घरेलू वॉल्यूम खरीदारों ने मेले का दौरा किया, जिसके परिणामस्वरूप लगभग Rs. 3500 करोड़ रुपये की व्यापारिक पूछताछ हुई।" उन्होंने अपनी बात को विस्तार देते हुए बताया, "खरीदारों में यूएसए, यूके, यूएई, फ्रांस, जर्मनी, ऑस्ट्रेलिया, नीदरलैंड, डेनमार्क, स्वीडन, स्पेन, जापान, कोरिया, सिंगापुर, इज़राइल, सऊदी अरब, नॉर्वे, तुर्की,इटली, कनाडा, साउथ अफ्रीका, रूस, ब्राज़ील, मेक्सिको और कई अन्य देशों के क्रेता शामिल थे जिन्होंने आयोजन के दौरान प्रतिभाग किया"।
मेले में सहायक कार्यक्रमों, जैसे सस्टेनेबिलिटी एंड सर्कुलरिटी पर पैनल चर्चा, ऑर्गनाइजेशनल इंप्रूवमेंट, एक्सपोर्ट फाइनेंस, आदि से संबंधित विभिन्न विषयों पर ज्ञान सेमिनार, रैंप प्रेजेंटेशन और लाइव क्राफ्ट प्रदर्शनों ने आयोजन के अनुभव को संपूर्ण बना दिया।
इस अवसर पर ईपीसीएच के कार्यकारी निदेशक श्री आर के वर्मा ने यह भी सूचित किया कि आईएचजीएफ दिल्ली मेला-शरद 2022 का उद्घाटन 14 अक्टूबर 22 को भारत सरकार के कपड़ा मंत्रालय के सचिव श्री यू पी सिंह द्वारा किया गया था। इस आयोजन का भारत सरकार समेत कई राज्यों और बहुत से गणमान्य व्यक्तियों द्वारा दौरा किया। इसी कड़ी में मध्य प्रदेश सरकार के औद्योगिक नीति और निवेश संवर्धन मंत्री श्री राजवर्धन सिंह दत्तीगांव; सफेमा अध्यक्ष और पीएम श्री. एम.एन. भंडारी, ; उत्तर प्रदेश सरकार के श्रम एवं रोजगार राज्य मंत्री/अध्यक्ष डॉ. रघुराज सिंह ; भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय में भूतपूर्व सैनिक कल्याण विभाग के सचिव और भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्री विजय कुमार सिंह ; उत्तर प्रदेश राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीएसआईडीए) के सीईओ और एनआरआई सेल के प्रभारी श्री मयूर माहेश्वरी; श्री अनिल अग्रवाल, एडिशनल डीजीफटी; भारत सरकार के कपड़ा मंत्रालय के हस्तशिल्प विकास आयुक्त श्री शांतमनु; और केंद्रीय कपड़ा मंत्रालय में व्यापार सलाहकार श्रीमती शुभ्रा ने भी आयोजन का दौरा कर प्रदर्शकों का उत्साह वर्धन किया। मेले की भव्यता और दिव्यता ने अपने संरक्षकों को इस संस्करण के साथ पूरी क्षमता से वापस लौटने के लिए आश्वस्त कर दिया है। इसकी दिव्यता से मिले आश्वासन का ही असर है कि सभी आगंतुक साझा उत्सुकता के साथ स्प्रिंग 2023 संस्करण की प्रतीक्षा कर रहे हैं।
अवार्ड सेरेमनी के दौरान खरीदारों को भी सम्मानित किया गया जिनमें फ्रांस से मिस्टर फैब्रिस कॉटेट, जर्मनी से सुश्री क्रिस्टीन शायर, यूनाइटेड किंगडम से मिस्टर इयान डाइक्स, संयुक्त अरब अमीरात से मिस्टर ओलाकोट नौशाद और मिस्टर हाउसन तरब। 11 उत्पाद श्रेणियों में सर्वश्रेष्ठ डिजाइन प्रदर्शन के लिए अजय शंकर और पीएन सूरी मेमोरियल पुरस्कार दिए गए।
हाउसवेयर, टेबलवेयर, किचेनवेयर और होटलवेयर (ईपीएनएस सहित) श्रेणी
मैसर्स नोदी एक्सपोर्ट्स, मुरादाबाद को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मेसर्स राजन ओवरसीज, मुरादाबाद (रजत)
लैंप, प्रकाश और एसेसरीज श्रेणी
मैसर्स ज्ञानेश्वर सरन सुधेश्वर सरन एंड कंपनी, मुरादाबाद को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया।
मेसर्स एचआरडी इंटरनेशनल, मुरादाबाद (रजत)
सजावट और उपहार
मैसर्स गजानन इंडिया, लखनऊ को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मेसर्स विजन इंटरनेशनल, मुरादाबाद (सिल्वर)
बाथरूम एसेसरीज
मैसर्स प्रीमियर कलेक्शन, मुरादाबाद को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मैसर्स डिजाइन इम्पेक्स, मुरादाबाद (सिल्वर)
फर्नीचर, फर्नीचर हार्डवेयर और एसेसरीज
मैसर्स क्रॉस कंट्री, जोधपुर को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मेसर्स फ्रेमवर्क फर्नीचर स्टूडियो (मणि इम्पेक्स), जोधपुर (सिल्वर)
होम फर्निशिंग और मेड अप्स
मैसर्स शिवम इंटरनेशनल, पानीपत को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मेसर्स बंधिनी, नई दिल्ली (रजत)
कालीन, कालीन और फर्श
मैसर्स अंबाडी इंटरप्राइजेज लिमिटेड गुड़गांव को विजेता पुरस्कार (गोल्ड) दिया गया
मैसर्स कंचन आर्ट्स, जयपुर (रजत)
फैशन ज्वैलरी और एक्सेसरीज श्रेणी में
मैसर्स हिताईची क्रिएटिव इंटरप्राइजेज प्राइवेट लिमिटेड कोलकाता को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण)
मेसर्स जस्ट इंटरेस्टिंग थिंग्स, दिल्ली (सिल्वर)
क्रिसमस डेकोरेटिव एंड फेस्टिव डेकोर
मेसर्स ट्रॉपिकाना एक्सोटिक्स प्राइवेट लिमिटेड कोलकाता को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) और,मेसर्स ईस्टवुड इंटरनेशनल, मुरादाबाद (रजत),मोमबत्तियाँ, अगरबत्ती, पोटपौरी और सुगंधित वस्तुएं,मैसर्स एम.आई.सी. एक्सपोर्ट नोयडा को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) मेसर्स जेल फार्मास्युटिकल्स लिमिटेड, ठाणे (सिल्वर),हैंडमेट पेपर, गिफ्ट रैप्स एवं रिबन जिसमें सॉफ्ट टॉयज शामिल हैं,मैसर्स मरुधरा हैंडमेड पेपर्स एंड हैंडीक्राफ्ट्स, जयपुर को विजेता पुरस्कार (स्वर्ण) दिया गया
मेसर्स सीत कमल इंटरनेशनल, जयपुर (रजत)
इस अवसर पर ईपीसीएच के महानिदेशक और आईईएमएल के चेयरमैन डॉ. राकेश कुमार ने सूचित किया कि ईपीसीएच दुनिया भर के विभिन्न देशों में भारतीय हस्तशिल्प निर्यात को बढ़ावा देने और उच्च गुणवत्ता वाले हस्तशिल्प उत्पादों और सेवाओं के एक विश्वसनीय आपूर्तिकर्ता के रूप में विदेशों में भारत की छवि बनाने के लिए जिम्मेदार एक नोडल संस्थान है। वित्तीय वर्ष 2021-22 के दौरान हस्तशिल्प निर्यात 33253.00 करोड़ (4459.76 मिलियन अमेरिकी डॉलर) रहा, जिसमें बीते वर्ष की तुलना में रुपये के संदर्भ में 29.49% और डॉलर के संदर्भ में 28.90% की वृद्धि दर्ज हुई है।
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