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आईएएस रानी नागर प्रकरण में गुर्जर समाज हुआ एकजुट

फ्यूचर लाइन टाईम्स 



धीरेन्द्र अवाना
नोएडा : हरियाणा कैडर की 2014 बैच की एक आईएएस अधिकारी रानी नागर की फेसबुक पोस्ट ने उस वक्त हड़कंप मचा दिया है।जब महिला अधिकारी ने एक वरिष्ठ आईएएस के ऊपर गंभीर आरोप लगाते हुये अपनी नौकरी छोड़ने का ऐलान किया।आपको बता दे कि ग्रेटर नोएडा के बादलपुर गांव की रहने वाली और हरियाणा कैडर की आईएएस रानी नागर निदेशक अर्काइव का पद पर तैनात है।रानी नागर ने 17 अप्रेल को अपने फेसबुक पर एक विडियों शेेयर किया।जिसमें उन्होंनें अपनी बहन और अपनी आपकी जान को खतरा बताते हुये कहा कि अगर उन्हें कुछ हो जाये या वे लापता हो जाये तो उनके इस विडियों को बतौर बयान सीजेएम चंडीगढ़ की अदालत में विचारधीन केस संख्या 3573/2019 में दर्ज कराये।बताते चले कि रानी नागर ने एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी
सुनील गुलाटी पर दुर्व्यवहार और उत्पीड़न का आरोप लगाया है।उनके पोस्ट के बाद हरियाणा की अफसरशाही में हलचल मच गयी है।मामला इतना तूल पकड़ रहा है कि आईएएस अधिकारी रानी नागर के साथ हरियाणा में हो रहे कथित उत्पीड़न के मामले पर बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने भी संज्ञान लिया है।मामले में बादलपुर के रहने वाले पूर्व मंत्री करतार सिंह नागर ने बीएसपी सुप्रीमो से फोन करके व पत्र भेजकर मदद मांगी है।मायावती ने इसे केंद्र व हरियाणा सरकार के सामने जोरदार तरीके से रखने का आश्वासन दिया है।बीएसपी सुप्रीमो ने कहा कि रानी नागर उनके पैतृक गांव की बहन-बेटी हैं।उनके साथ किसी तरह का अत्याचार नहीं होने दिया जाएगा। 
रानी नागर व उसकी बहन के साथ हरियाणा में हो रहे उत्पीड़न को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इस मामले को वह जल्द ही प्रधानमंत्री, हरियाणा के सीएम समेत केंद्रीय मंत्रियों के सामने रखेंगी।उनका कहना है कि बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का नारा देने वाली सरकार इतने से दिनों से एक बेटी के साथ हो रहे उत्पीड़न को कैसे दबाए बैठी रही।वहीं,अखिल भारतीय गुर्जर परिषद ने रानी और उनकी बहन की सुरक्षा की जिम्मेवारी लेते हुयी कहा कि उनको इस्तीफा देने की जरूरत नहीं है।उत्पीड़न करने वाले लोगों से निमट लिया जायेगा।मामला इतना तूल पकड़ रहा है कि बीएसपी से सांसद मलूक नागर, लोनी के पूर्व विधायक मदन भैया समेत कई नेता व सामाजिक कार्यकर्ताओं ने केंद्र सरकार और हरियाणा के सीएम को पत्र भेजकर रानी नागर को न्याय दिलाने की मांग की है।वही दुसरी ओर सोशल मीड़िया में गुर्जर समाज के लोगों इस मामले में प्रधानमंत्री को टवीट करके एकजुटता दिखाई।


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