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दुनिया में ऐसे कई उदाहरण है, जब लोगों ने फर्श से अर्श तक का सफर तय करके दुनिया को हैरान कर दिए : सत्यम सिंह बघेल

फ्यूचर लाइन टाईम्स 


दुनिया में ऐसे कई उदाहरण है, जब लोगों ने फर्श से अर्श तक का सफर तय करके दुनिया को हैरान कर दिए। लेकिन मन में यह सवाल उठता है, कि दुनिया में सफलता का प्रतिशत इतना कम क्यों है? मेहनत, कठिन परिश्रम तो हर कोई कर रहा है, फिर हर आदमी सफल क्यों नही है? ऐसा क्यों है? क्या है इसकी वजह? इसकी प्रमुख वजह हैं, लोगों में वे आदतें, शक्ति और व्यवहार का न होना जो सफल लोगों में होती हैं। वह कदम न उठा पाना जो सफल लोग उठाते हैं। वह जोखिम न ले पाना जो सफल लोग लेते हैं।


सफलता पाने के लिए सबसे जरूरी है आत्मविश्वास का होना। आत्मविश्वास किसी भी लक्ष्य को हासिल करने का पहला कदम होता है। आत्मविश्वास के बिना जिंदगी में कुछ भी हासिल कर पाना सम्भव नही है। हम मेहनती हैं लेकिन खुद पर विश्वास नही है तो जिंदगी में वो कामयाबी हासिल नही कर पाएंगे जो करना चाहते हैं। लेकिन हमारे अंदर आत्मविश्वास है तो विपरीत परिस्थितियां होते हुए भी अपने लक्ष्य में जरूर सफल होंगे। 


सफलता हासिल करने के लिए हमें दृढ़-संकल्पित होना पड़ेगा कि सफलता हासिल करना ही करना है। मंजिल को पाना ही पाना है। यदि दृढ़-संकल्प ले लिए तो मुश्किलों की क्या बिसात कि रास्ता रोक पाएं। 


हमारे अंदर आत्मविश्वास हैं। हम दृढ़-संकल्पित हैं किंतु समय का प्रबंधन ठीक नही है तो सफलता हासिल कर पाना सम्भव नही क्योंकि समय प्रबंधन ठीक न होने से अधिकांश समय व्यर्थ नष्ट होता है, जो सफलता के पथ पर बाधा बनता है अतः सफलता के लिए उचित समय प्रबंधन आवश्यक है।


सफलता हासिल करने के लिए सटीक, स्पष्ट योजना का होना जरूरी है। बिना योजना के हम किसी आसान लक्ष्य को भी नही पा सकते हैं। योजना नही होगी तो कार्यों का क्रियान्वयन कैसे कर पाएंगे? किसी बड़े लक्ष्य को हासिल करना है तो स्पष्ट योजना तैयार करने के बाद ही लक्ष्य की ओर अपने कदम बढ़ाना चाहिए।


जिंदगी में आगे बढ़ने के लिए समय के साथ खुद में बदलाव करते रहना जरूरी है। दरअसल समय के साथ लक्ष्य को हासिल करने के तरीकों में भी काफी बदलाव आये हैं। जैसे आज से दस या बीस साल पहले जो चीजें चलती थी आज उनमें समय के साथ काफी बदलाव देखने को मिल रहे हैं। इसलिए समय के साथ नया सीखकर खुद में बदलाव करते रहना जरूरी है।


लक्ष्य को हासिल करने के लिए हमें चुनौतियों का सामना करना ही पड़ेगा। जिन चुनौतियों नजर अंदाज करके चलते रहते हैं बाद में वही चुनौतियां एक दिवार बनकर हमारे सामने खड़ी होती है। क्योंकि चुनौतियां हमें मजबूत बनाती है। इसलिए चुनौतियों का डटकर सामना करना सीखें, और आगे बढ़ते रहें।


 


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